बाजार और निवेशकों की सबसे पसंदीदा स्टोरी फ्लॉप होने का खतरा दिख रहा है, हाल में एफएमसीजी कंपनियों के नतीजों से ऐसा लगता है कि कंजम्पशन की थीम अब काम नहीं कर रही है, कंपनियों की ग्रोथ घट रही है, क्या लोगों के हाथ में खर्च करने के पैसे नहीं बचे हैं, या फिर मुनाफावसूली का दबाव है, ये काफी गंभीर सवाल हैं जिनका जवाब चाहिए, हो सकता है कि ये थोड़े समय की दिक्कत हो अच्छे मॉनसून के बाद सबकुछ फिर बदल जाए आज इसी पर चर्चा करेंगे।
एफएमसीजी कंपनियों के वॉल्यूम ग्रोथ के आंकड़ों पर नजर डालें तो वित्त वर्ष 2019 में एचयूएल के वॉल्यूम में 7 फीसदी की ग्रोथ देखने को मिली है। तिमाही आधार पर देखें तो वित्त वर्ष 2019 की पहली तिमाही में एचयूएल के वॉल्यूम में 12 फीसदी, दूसरी तिमाही में 10 फीसदी, तीसरी तिमाही में भी 10 फीसदी और चौथी तिमाही में 7 फीसदी की बढ़त देखने को मिली है।
तिमाही आधार पर देखें तो वित्त वर्ष 2019 की पहली तिमाही में मैरिको के वॉल्यूम में 12.4 फीसदी, दूसरी तिमाही में 6 फीसदी, तीसरी तिमाही में 5 फीसदी और चौथी तिमाही में 8 फीसदी की बढ़त देखने को मिली है।
इस तरह वित्त वर्ष 2019 की पहली तिमाही में डाबर के वॉल्यूम में 21 फीसदी, दूसरी तिमाही में 8.1 फीसदी, तीसरी तिमाही में 12.4 फीसदी और चौथी तिमाही में 4.3 फीसदी की बढ़त देखने को मिली है।
ब्रिटानिया के वॉल्यूम ग्रोथ ट्रेंड पर नजर डालें तो वित्त वर्ष 2019 की पहली तिमाही में ब्रिटानिया के वॉल्यूम में 11 फीसदी, दूसरी तिमाही में भी 11 फीसदी, तीसरी तिमाही में 7 फीसदी और चौथी तिमाही में भी 7 फीसदी की बढ़त देखने को मिली है।
इंडिया इंफोलाइन के संजीव भसीन का कहना है कि चौथी तिमाही में खपत वाले सेक्टर के नतीजे कमजोर रहे हैं। इसके कुछ कारण भी रहे। उत्तर भारत में सर्दियां लंबी खिंचने की वजह से कंज्यूमर ड्यूरेबल्स जैसे एसी, कूलर, फ्रिज की बिक्री पर असर पड़ा। लेकिन अब गर्मी जोर से पड़ रही है जिससे आगे कंज्यूमर ड्यूरेबल्स में अच्छी ग्रोथ देखने को मिल सकती है।
एनबीएफसी संकट, आईएलएंडएफएस से जुड़ी मुश्किलों और ओला-उबर से मिल रही चुनौतियों की वजह से ऑटो सेक्टर में भी कमजोरी रही है। लेकिन मॉनसून के अच्छे रहने की संभावना, कंज्यूमर स्पेंडिंग बढ़ने, नई स्थिर सरकार के आने से आगे ऑटो सेक्टर में भी तेजी देखने को मिलेगी।
अधिक जानकारी के लिए कृपया हमसे संपर्क करें 8817002233 or whatsapp no. 9893024247
http://www.starindiaresearch.com/freetrial
No comments:
Post a Comment